🌕 चंद्र ग्रहण क्यों लगता है? कारण, प्रकार और वैज्ञानिक रहस्य
चंद्रमा हमेशा से ही मानव जीवन और भावनाओं से जुड़ा रहा है। जब यह अपनी चमक खो देता है और अचानक अंधकार या लालिमा लिए हुए दिखाई देता है, तो हम सभी हैरान रह जाते हैं। इस घटना को हम चंद्र ग्रहण (Lunar Eclipse) कहते हैं।
लेकिन सवाल यह है कि चंद्र ग्रहण क्यों लगता है? इसके पीछे क्या कारण और वैज्ञानिक तथ्य छिपे हैं? आइए जानते हैं विस्तार से।
🔭 चंद्र ग्रहण क्यों लगता है?
जब पृथ्वी सूर्य और चंद्रमा के बीच आ जाती है, तब पृथ्वी की छाया चंद्रमा पर पड़ती है। इसी वजह से चंद्रमा की चमक धीमी हो जाती है या वह पूरी तरह ढक जाता है। यही स्थिति चंद्र ग्रहण कहलाती है।
🌀 चंद्र ग्रहण होने की मुख्य शर्तें
-
चंद्र ग्रहण केवल पूर्णिमा (Full Moon) की रात को ही हो सकता है।
-
सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा एक सीध (Straight Line) में होने चाहिए।
-
चंद्रमा को पृथ्वी की छाया (Umbra या Penumbra) से गुजरना पड़ता है।
🌕 चंद्र ग्रहण के प्रकार
1. पूर्ण चंद्र ग्रहण (Total Lunar Eclipse)
जब पूरा चंद्रमा पृथ्वी की Umbra (गहरी छाया) में चला जाता है, तब इसे पूर्ण चंद्र ग्रहण कहा जाता है। इस समय चंद्रमा लालिमा लिए दिखाई देता है, जिसे “ब्लड मून (Blood Moon)” भी कहा जाता है।
2. आंशिक चंद्र ग्रहण (Partial Lunar Eclipse)
जब चंद्रमा का केवल कुछ हिस्सा पृथ्वी की Umbra में प्रवेश करता है, तब इसे आंशिक चंद्र ग्रहण कहते हैं। इसमें चंद्रमा का आधा या कुछ भाग ही अंधकारमय दिखाई देता है।
3. उपछाया चंद्र ग्रहण (Penumbral Eclipse)
जब चंद्रमा पृथ्वी की हल्की छाया (Penumbral) से गुजरता है, तो उसे उपछाया ग्रहण कहते हैं। इसमें चंद्रमा हल्का-सा धुंधला या फीका नजर आता है।
🌍 वैज्ञानिक दृष्टिकोण
-
ग्रहण एक प्राकृतिक खगोलीय घटना है।
-
इसमें किसी भी प्रकार का अशुभ प्रभाव वैज्ञानिक रूप से प्रमाणित नहीं है।
-
यह घटना केवल पृथ्वी, सूर्य और चंद्रमा की स्थिति पर आधारित है।
🙏 परंपराएं और मान्यताएं
भारत में ग्रहण को लेकर कई धार्मिक मान्यताएं और परंपराएं हैं। लोग ग्रहण के समय पूजा-पाठ, स्नान या व्रत रखते हैं। हालांकि, वैज्ञानिक इसे केवल खगोलीय घटना मानते हैं।
📅 चंद्र ग्रहण कब-कब लगता है?
हर वर्ष लगभग 2 से 3 बार चंद्र ग्रहण लग सकता है। यह इस बात पर निर्भर करता है कि सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा किस कोण और स्थिति में हैं।
🎨 सरल उदाहरण (डायग्राम से समझें)
एक साधारण रेखाचित्र से समझ सकते हैं कि –
-
सूर्य से आने वाली किरणों को पृथ्वी रोक लेती है।
-
पृथ्वी की छाया जब चंद्रमा पर पड़ती है, तब चंद्र ग्रहण बनता है।
चंद्र ग्रहण एक अद्भुत खगोलीय घटना है। यह न केवल हमें प्रकृति की विशालता का एहसास कराता है बल्कि विज्ञान और खगोलशास्त्र की समझ को भी बढ़ाता है।
👉 अगली बार जब आप चंद्र ग्रहण देखें, तो इसे केवल एक चमत्कारिक दृश्य न मानकर, एक वैज्ञानिक घटना के रूप में जरूर समझें।

चंद्र ग्रहण क्यों लगता है, चंद्र ग्रहण के प्रकार, चंद्र ग्रहण कब है, Lunar Eclipse in Hindi, चंद्र ग्रहण की जानकारी, ग्रहण विज्ञान, चंद्र ग्रहण 2025
चंद्र ग्रहण, पूर्ण चंद्र ग्रहण, आंशिक चंद्र ग्रहण, उपछाया ग्रहण, ब्लड मून, ग्रहण 2025
Lunar Eclipse, Blood Moon, Total Lunar Eclipse, Partial Lunar Eclipse, Penumbral Eclipse, Eclipse 2025
✍️ Written & Edited By : ADIL AZIZ
(जनहित की बात, पत्रकारिता के साथ)
PUBLIC SAB JANTI HAI
📧 Email : publicnewsviews1@gmail.com


कोई टिप्पणी नहीं